Bharat: 50 से अधिक वन्यजीव अभयारण्य और टाइगर रिजर्व का नाम बदल दिया गया
पृष्ठभूमि
भारत सरकार ने हाल ही में औपनिवेशिक काल के कानूनों और नामों को हटाने के अपने प्रयासों के तहत 50 से अधिक वन्यजीव अभयारण्यों और टाइगर रिजर्व के नामों को बदल दिया है।भारतीय वन्यजीव (संरक्षण) अधिनियम, 1972
भारतीय संसद ने 1972 में वन्यजीव (संरक्षण) अधिनियम पारित किया। इस अधिनियम में वन्यजीवों और उनके आवासों की रक्षा का प्रावधान है। इस अधिनियम के तहत, भारत सरकार वन्यजीव अभयारण्यों और टाइगर रिजर्व की स्थापना और प्रबंधन के लिए अधिकृत है।नाम परिवर्तन
भारत सरकार ने 1858 के गवर्नमेंट ऑफ इंडिया अधिनियम और 1871 के थग्स एंड डकॉइटी सप्रेशन एक्ट जैसे औपनिवेशिक काल के कानूनों और नामों को हटाने के लिए कदम उठाए हैं। इसी क्रम में, पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय ने वन्यजीव अभयारण्यों और टाइगर रिजर्व के औपनिवेशिक नामों को बदलने का निर्णय लिया है।उदाहरण के लिए, रणथंभौर राष्ट्रीय उद्यान का नाम बदलकर रणथंभौर बाघ अभयारण्य कर दिया गया है, जबकि सुंदरवन टाइगर रिजर्व का नाम बदलकर सुंदरवन बाघ अभयारण्य कर दिया गया है। कुल मिलाकर, 50 से अधिक वन्यजीव अभयारण्यों और टाइगर रिजर्व के नाम बदल दिए गए हैं।
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